उ. प्र. बजट 2024-25

उ. प्र. बजट 2024-25

GS-V: उत्तर प्रदेश की अर्थव्यवस्था

(IAS/UPPCS)

प्रीलिम्स के लिए महत्वपूर्ण:

उत्तर प्रदेश बजट-2024-25, आकार, राजस्व प्राप्तियां, राजकोषीय घाटा, राजस्व घाटा, सकल घरेलू उत्पाद।

मेन्स के लिए महत्वपूर्ण:

उत्तर प्रदेश बजट-2024-25 की प्रमुख विशेषताएं, निष्कर्ष।

O6 फरवरी, 2024

ख़बरों में क्यों:

हाल ही में, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में वित्तमंत्री सुरेश खन्ना ने वित्तीय वर्ष 2024-25 का वार्षिक बजट प्रस्तुत किया।

  • रामराज की अवधारणा के तहत इस बजट को दोहा- एही महं आदि मध्य अवसाना को पढ़कर शुरू किया गया।
  • बजट का आकार 7 लाख 36 हजार 437 करोड 71 लाख रुपये (7,36,437.71 करोड़ रुपये) है।

यू.पी. बजट 2024-25: 

महत्वपूर्ण तथ्य:

  • यह यूपी के इतिहास का सबसे बड़ा बजट है।
  • 5 फरवरी को प्रस्तुत, यह उत्तर प्रदेश की योगी सरकार के दूसरे कार्यकाल का तीसरा बजट है।
  • प्रदेश सरकार के इस बजट में महिला, युवा, किसान और रोजगार सृजन पर सर्वाधिक जोर दिया गया है।
  • वित्तीय वर्ष 2024-25 के लिए 7.36 लाख करोड़ से अधिक का बजट प्रस्तुत हुआ है।
  • इस बजट में 24,863.57 करोड़ रुपए की नई योजनाओं को लांच किया गया है।
  • पिछले 7 वर्ष में दोगुने से अधिक की वृद्धि प्रदेश के बजट में हुई है।

राजस्व प्राप्तियां:

  • बजट में 6 लाख 6 हजार 802 करोड़ 40 लाख रुपये (6,06,802.40 करोड़ रुपये)
  • राजस्व प्राप्तियों में कर राजस्व का अंश 4 लाख 88 हजार 902 करोड़ 84 लाख रुपये (4,88,902.84 करोड़ रुपये) है।
  • इसमें स्वयं का कर राजस्व 2 लाख 70 हजार 86 करोड़ रुपये (2,70,086 करोड़ रुपये)
  • केन्द्रीय करों में राज्य का अंश 2 लाख 18 हजार 816 करोड़ 84 लाख रुपये (2.18,816.84 करोड़ रुपये) शामिल है।

पूंजीगत प्राप्तियां:

  • 1 लाख 14 हजार 531 करोड़ 42 लाख रुपये (1,14,531.42 करोड़ रुपये)
  • राजस्व लेखा व्यय : 5 लाख 32 हजार 655 करोड़ 33 लाख रुपये (5.32,655.33 करोड़ रुपये)
  • पूंजीगत लेखा व्यय: 2 लाख 3 हजार 782 करोड़ 38 लाख रूपये (2.03.782.38 करोड़ रुपये)
  • राजस्व घाटा (अनुमानित): 15 हजार 103 करोड़ 89 लाख रुपये (15,103.89 करोड़ रुपये)।
  • शुद्ध प्राप्तियां(अनुमानित): 5,500 करोड़ रुपये 

राजकोषीय घाटा:

  • बजट में राजस्व बचत 74 हजार 147 करोड़ 07 लाख रुपये (74.147.07 करोड़ रुपये) अनुमानित है।
  • राजकोषीय घाटा 86 हजार 530 करोड़ 51 लाख रुपये (86,530.51 करोड़ रुपये) अनुमानित है, जो वर्ष के लिये अनुमानित सकल राज्य घरेलू उत्पाद का 3.46 प्रतिशत है।

प्रमुख विशेताएँ:

खाद्य प्रसंस्करण:

उत्तर प्रदेश खाद्य प्रसंस्करण उद्योग नीति, 2022:

  • पात्र इकाईयों को वित्तीय प्रोत्साहन प्रदान हेतु 300 करोड़ रुपये (वर्तमान वर्ष की तुलना में तीन गुनी)।
  • उत्तर प्रदेश खाद्य प्रसंस्करण उद्योग नीति, 2017 के तहत 50 करोड़ रुपये की व्यवस्था (वर्तमान वर्ष की तुलना में 25 प्रतिशत अधिक)।
  • औसत गन्ना उत्पादकता: 72 से बढ़कर 84 मीट्रिक टन प्रति हेक्टेयर (कृषकों को 25 प्रतिशत का अतिरिक्त लाभ)।

वर्तमान पेराई सत्र 2023-2024 (अनुमान):

  • गन्ने की खेती- 29.66 लाख हेक्टेयर,
  • चीनी का उत्पादन- 110 लाख टन से अधिक।
  • किसान सहकारी चीनी मिल, ननौता, जनपद सहारनपुर की कार्यक्षमता सुधार,
  • सहकारी चीनी मिल लिमिटेड, गजरौला, जनपद अमरोहा की पेराई क्षमता में वृद्धि 2500~4900 टीसीडी
  • सल्फरलेस रिफाइण्ड शुगर के उत्पादन पर जोर देने के लिए पिपराईच एवं मुंडेरवा में 5000 टीसीडी क्षमता के सल्फरलेस शुगर प्लांट की स्थापना।
  • एक लाख लीटर प्रतिदिन एथनॉल उत्पादन क्षमता वाले आसवनी एवं कम्पे्रस्ड बायो गैस प्लाण्ट की स्थापना।
  • नरेन्द्र देव कृषि एवं प्रौद्योगिक विश्वविद्यालय, अयोध्या के अन्तर्गत कृषि महाविद्यालय गोण्डा का संचालन शैक्षणिक सत्र 2023-2024 से करते हुए पठन-पाठन कार्य प्रारम्भ।
  • कृषि एवं प्रौद्योगिक विश्वविद्यालयों तथा महाविद्यालयों में विभिन्न नये कार्यों हेतु 100 करोड़ रुपये की व्यवस्था।
  • महात्मा बुद्ध कृषि एवं प्रौद्योगिक विश्वविद्यालय, कुशीनगर की स्थापना: 100 करोड़ रुपये की व्यवस्था।

दुग्ध उत्पादन:

  • दुग्ध संघों के सुदृढ़ीकरण एवं पुनर्जीवित करने की योजना-106 करोड़ 95 लाख रुपये प्रस्तावित।
  • नन्द बाबा दुग्ध मिशन योजना-74 करोड़ 21 लाख रुपये प्रस्तावित (वर्तमान वर्ष की तुलना में 21 प्रतिशत अधिक)।
  • उत्तर प्रदेश दुग्ध उत्पाद प्रोत्साहन नीति-2022: दुग्ध उद्योग की इकाईयों को प्रोत्साहन हेतु 25 करोड़ रुपये प्रस्तावित।
  • नवीन डेरी प्लान्ट(निर्माणाधीन), मथुरा: 23 करोड़ रुपये 30 प्रस्तावित, क्षमता-1  हजार लीटर प्रतिदिन।
  • गो-संरक्षण केन्द्र (संचालित): 303 (गो संरक्षण एवं निराश्रित/बेसहारा गोवंश की समस्या के निराकरण हेतु प्रदेश के समस्त जनपदों में)।
  • प्रदेश में लगभग 7,239 गोवंश आश्रय स्थल संचालित है। इन आश्रय स्थलों में शहरी तथा ग्रामीण अंचलों में कुल 14 लाख 38 हजार गोवंशीय पशु संरक्षित किये गये हैं।
  • पशुरोग नियंत्रण योजना:195 करोड़ 94 लाख रुपये प्रस्तावित(वर्तमान वर्ष की तुलना में 68 प्रतिशत अधिक)।
  • जनपद गोरखपुर एवं भदोही में पशुचिकित्सा महाविद्यालयों की स्थापना: 100 करोड़ रुपये प्रस्तावित। 
  • जोखिम प्रबंधन एवं पशुधन बीमा योजना: 78 करोड़ 55 लाख रुपये प्रस्तावित(वर्तमान वर्ष की तुलना में लगभग तीन गुना)।

मत्स्य उत्पादन एवं उत्पादकता:

प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना:

  • वर्ष 2020 से वर्ष 2025 तक संचालित करने का प्रस्ताव।
  • एक्वा पार्क के निर्माण हेतु 190 करोड़ रुपये प्रस्तावित।
  • पुरूष एवं महिला लाभार्थियों के आच्छादन हेतु कुल 310 करोड़ रुपये प्रस्तावित।

ऋण

  • अल्पकालिक ऋण- वर्ष 2023-2024 में 14.35 लाख कृषकों को 8,787 करोड़ रुपये का वितरण।
  • दीर्घकालिक ऋण- वर्ष 2023-2024 में 257 करोड़ रुपये का वितरण।
  • फसली ऋण: 525 करोड़ रुपये प्रस्तावित (कम ब्याज दर पर)।
  • भण्डारण योजना: गोदामों के सुदृढ़ीकरण एवं मरम्मत हेतु 30 करोड़ रुपये प्रस्तावित।

रबी विपणन वर्ष 2023-24:

  • गेहूँ का न्यूनतम समर्थन: 2125 प्रति कुन्तल (निर्धारित)।

खरीफ विपणन वर्ष 2023-24:

  • धान का न्यूनतम समर्थन मूल्य: 2183 रुपये प्रति कुन्तल (कामन श्रेणी) एवं 2203 रुपये प्रति कुन्तल (ग्रेड-ए श्रेणी)।
  • खरीफ विपणन वर्ष 2023-24 में मक्का, बाजरा तथा ज्वार के लिए भी भारत सरकार द्वारा न्यूनतम समर्थन मूल्य निर्धारित।

प्रधानमंत्री उज्ज्वला योजना:

  •  वर्ष 2023-2024 में 56 लाख से अधिक लाभार्थियों को निशुल्क गैस सिलिन्डरों का वितरण।

अन्न पूर्ति योजना:

  • 17,661 करोड़ 60 लाख रुपये प्रस्तावित। 
  • निशुल्क खाद्यान्न एवं उज्जवला योजना के लाभार्थियों को निशुल्क एलपीजी सिलिन्डर रीफिंल उपलब्ध कराये जाने हेतु 2200 करोड़ रुपये प्रस्तावित।

स्वरोजगार:

  • मुख्यमंत्री युवा उद्यमी विकास अभियान- 1000 करोड़ रुपये प्रस्तावित।
  • मुख्यमंत्री सूक्ष्म उद्यमी दुर्घटना बीमा योजना(2023 से संचालित): अधिकतम 5 लाख रुपये तक की वित्तीय सहायता सूक्ष्म उद्यमियों के लिए प्रस्तावित।
  • निजी क्षेत्र में औद्योगिक संस्थानों के प्रोत्साहन हेतु- 10 प्लेज पार्क (निर्माणाधीन)
  • वित्तीय वर्ष 2024-2025 में वस्त्रोद्योग के क्षेत्र में 40,000 रोजगार सृजन का लक्ष्य।
  • अटल बिहारी बाजपेई पावरलूम विद्युत फ्लैट रेट योजना-400 करोड़ रुपये का बजट प्रस्ताव (हथकरघा बुनकरों के साथ-साथ पावरलूम बुनकरों के उत्थान के हेतु)।
  • माटी कला समन्वित विकास कार्यक्रम: 11 करोड़ 25 लाख रुपये प्रस्तावित।

पीएम मेगा इंटीग्रेटेड टेक्सटाइल्स एण्ड अपैरल योजना:

  • लखनऊ-हरदोई में लगभग 1000 एकड़ क्षेत्रफल में मेगा टेक्सटाइल पार्क स्वीकृत।
  • यह पार्क टेक्सटाइल एवं परिधान क्षेत्र में दस से पन्द्रह हजार करोड़ रुपये का निवेश आकर्षित करेगा जिससे लगभग 1 लाख प्रत्यक्ष और 2 लाख अप्रत्यक्ष रोजगार के अवसरों का सृजन होगा।
  • टेक्सटाइल पार्क की स्थापना हेतु 200 करोड़ रुपये की व्यवस्था प्रस्तावित है।
  • वाराणसी में नेशनल इन्स्टीट्यूट ऑफ फैशन टेक्नोलाजी (निफ्ट) की स्थापना- 150 करोड़ रुपये प्रस्तावित।
  • पं. दीनदयाल ग्रामोद्योग रोजगार-14 करोड़ रुपये प्रस्तावित।
  • खादी एवं ग्रामोद्योग विकास तथा रोजगार प्रोत्साहन नीति- 15 करोड़ 75 लाख प्रस्तावित।

उत्तर प्रदेश डाटा सेन्टर नीति-2021:

  • 03 अत्याधुनिक निजी डाटा सेन्टर पार्क्स विकसित करने तथा राज्य में 250 मेगावाट डाटा सेन्टर उद्योग का विकास किये जाने का लक्ष्य था।
  • 08 डेटा सेन्टर स्थापित किये जाने का लक्ष्य का निर्धारण
  • 30,000 करोड़ रुपये के अनुमानित निवेश से 900 मेगावॉट क्षमता के सृजन का लक्ष्य का निर्धारण।

उत्तर प्रदेश इलेक्ट्रानिक्स विनिर्माण नीति-2017:

  • निवेश- 20,000 करोड़ रुपये से अधिक का लक्ष्य की प्राप्ति
  • लगभग 3 लाख रोजगार सृजित हुए।
  • इलेक्ट्रानिक्स विनिर्माण नीति-2020: 40,000 करोड़ रुपये का निवेश आकर्षित करने तथा राज्य में 03 सेण्टर ऑफ एक्सिलेंस की स्थापना किये जाने का लक्ष्य है।
  • सेमी कंडक्टर, डाटा सेन्टर, स्टार्टअप एवं आईटी सेक्टर्स से संबंधित विशेष योजना के साथ ही वर्ष 2022 में इलेक्ट्रानिक्स मैन्युफैक्चरिंग को प्रोत्साहित करने के लिये नीति भी लागू की गई है।

ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट- 2023:

  • इलेक्ट्रानिक्स विनिर्माण क्षेत्र में लगभग 3867 करोड़ रुपये के निवेश और लगभग 2.15 लाख व्यक्तियों हेतु रोजगार की सम्भावना।

शिक्षा:

  • आपरेशन कायाकल्प: वित्तीय वर्ष 2024-2025 में 1000 करोड़ रुपये का प्रावधान 
  • ग्राम पंचायत एवं वॉर्ड स्तर पर डिजिटल लाइब्रेरी की स्थापना: वित्तीय वर्ष 2023-2024 में 300 करोड रुपये और वित्तीय वर्ष 2024-2025 में 498 करोड़ रुपये की बजट व्यवस्था प्रस्तावित।
  • गरीबी रेखा से ऊपर के लगभग 30 लाख छात्रों को निःशुल्क यूनिफार्म वितरण हेतु 168 करोड़ रुपये प्रस्तावित।
  • वर्ष 2024-2025 तक प्रदेश के समस्त राजकीय माध्यमिक विद्यालयों को आधारभूत सुविधाओं से संतृप्त किये जाने एवं प्रत्येक राजकीय माध्यमिक विद्यालय में स्मार्ट क्लास तथा आई.सी.टी. लैब की व्यवस्था किये जाने हेतु समग्र शिक्षा योजना के अन्तर्गत 516.64 करोड़ रुपये की व्यवस्था प्रस्तावित है।
  • सहायता प्राप्त अशासकीय माध्यमिक विद्यालयों में अवस्थापना सुविधाओं हेतु 200 करोड़ रुपये की व्यवस्था प्रस्तावित है।
  • नवीन राजकीय संस्कृत विद्यालयों की स्थापना: 5 करोड़ रुपये प्रस्तावित।
  • मुरादाबाद, विन्ध्याचल धाम और देवी पाटन मण्डलों में एक-एक राज्य विश्वविद्यालय की स्थापना: 51.20 करोड़ रुपये प्रस्तावित।
  • मुख्यमंत्री शिक्षुता प्रोत्साहन- शिक्षा को प्रोत्साहन हेतु 100 करोड़ रुपये प्रस्तावित।
  • स्वामी विवेकानन्द युवा सशक्तिकरण योजना: टैबलेट- स्मार्ट फोन वितरण के लिए 4000 करोड़ रुपये प्रस्तावित।

स्पोर्ट्स:

  • राष्ट्रीय एवं अन्तर्राष्ट्रीय प्रतियोगिताओं के विजेता खिलाड़ियों को पुरस्कार योजना: 50 करोड़ रुपये प्रस्तावित।
  • स्पोर्टस साइन्स एण्ड इन्जरी सेन्टर की स्थापना: 12 करोड़ रुपये प्रस्तावित।
  • प्रदेश के 117 विकास खंडों में 124 ग्रामीण स्टेडियम और मल्टीपरपज हॉल का निर्माण किया गया है।
  • कर्नाटक में 12 से 16 जनवरी, 2023 तक आयोजित 26वें राष्ट्रीय युवा उत्सव में उत्तर प्रदेश के लोकगीत की टीम ने प्रथम स्थान प्राप्त कर स्वर्ण पदक अर्जित किया।

कृषि:

  • प्रदेश में कुल प्रतिवेदित क्षेत्रफल 241.70 लाख हेक्टेयर है, जिसमें 160.95 लाख हेक्टेयर में खेती की जाती है। प्रदेश में कृषि क्षेत्र की विकास दर 5.1 प्रतिशत प्राप्त करने का लक्ष्य है।
  • पीएम कुसुम योजना: 449 करोड़ 45 लाख रुपये प्रस्तावित है (वर्तमान वित्तीय वर्ष की तुलना में दो गुने से अधिक)।
  • कृषि को प्रोत्साहन प्रदान करने के उद्देश्य से तीन नई योजनायें प्रारम्भ की जा रही है। राज्य कृषि विकास योजना, विश्व बैंक सहायतित यूपी एग्रीज योजना तथा प्रदेश के विकास खंडों एवं ग्राम पंचायतों में ऑटोमैटिक वेदर स्टेशन- ऑटोमैटिक रेन गेज की स्थापना का निर्णय लिया गया है। इन योजनाओं के लिए 200 करोड़ रुपये, 200 करोड़ रुपये एवं 60 करोड़ रुपये प्रस्तावित हैं।
  • मुख्यमंत्री खेत सुरक्षा योजना(स्वीकृत): 50 करोड़ रुपये प्रस्तावित।
  • प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना: 2022-2023 के लगभग 10 लाख बीमित कृषकों को माह अक्टूबर, 2023 तक 831 करोड़ रुपये की क्षतिपूर्ति का भुगतान किया गया।
  • प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना: दिसम्बर, 2023 तक लगभग 63,000 करोड़ रुपये की धनराशि डी0बी0टी0 के माध्यम से 2 करोड़ 62 लाख कृषकों के खातों में हस्तान्तरित की गयी।
  • प्रधानमंत्री किसान मान-धन योजना: प्रदेश के लघु एवं सीमांत कृषकों को 60 वर्ष की आयु प्राप्त करने पर पुरूष एवं महिला दोनों के लिए 3000 रुपये की सुनिश्चित मासिक पेंशन प्रदान की जा रही है।

इन्फ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट

  • स्वच्छ भारत मिशन (ग्रामीण): 4867 करोड़ 39 लाख रुपये प्रस्तावित (वर्तमान वर्ष की तुलना में दो गुने से अधिक)।
  • बहुउद्देशीय पंचायत भवनों के निर्माण हेतु लगभग 57 करोड़ रुपये की व्यवस्था प्रस्तावित है।
  • उत्तर प्रदेश मातृ भूमि योजना: 33 करोड़ प्रस्तावित।
  • प्रधानमंत्री आवास योजना (ग्रामीण): वित्तीय वर्ष 2024-25 में लगभग 2441 करोड़ रुपये प्रस्तावित।
  • विधान मण्डल क्षेत्र विकास योजना के अन्तर्गत वित्तीय वर्ष 2024-2025 में विकास कार्यों के लिये 2520 करोड़ रुपये (जीएसटी सहित) की व्यवस्था प्रस्तावित है।
  • राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारण्टी योजना: लगभग 5060 करोड़ रुपये प्रस्तावित।
  • राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन: लगभग 3695 करोड़ रुपये प्रस्तावित।
  • प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना: 3668 करोड़ रुपये प्रस्तावित।
  • त्वरित आर्थिक विकास योजना: 2400 करोड़ रुपये प्रस्तावित।
  • पूर्वांचल विकास निधि हेतु 575 करोड़ रुपये एवं बुन्देखण्ड विकास निधि हेतु 425 करोड़ रुपये प्रस्तावित।
  • प्रधानमंत्री आवास योजना (शहरी): लगभग 3948 करोड़ रुपये प्रस्तावित।
  • अमृत 2.0 योजना (वर्ष 2021 में शुरू): 4500 करोड़ रुपये प्रस्तावित।
  • महाकुम्भ मेला 2025: 2500 करोड़ रुपये प्रस्तावित।
  • मुख्यमंत्री-ग्रीन रोड इन्फ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट स्कीम (अर्बन): 800 करोड़ रुपये प्रस्तावित( वर्तमान वर्ष के सापेक्ष 60 प्रतिशत अधिक)।
  • अर्बन फ्लड एवं स्टार्म वाटर ड्रेनेज योजना: 1000 करोड़ रुपये प्रस्तावित।
  • मुख्यमंत्री नगरीय अल्प विकसित मलिन बस्ती विकास योजना: 675 करोड़ रुपये प्रस्तावित (वर्तमान वर्ष की तुलना में लगभग दो गुना)।
  • नगरीय सेवायें और अवस्थापना विकास की नई योजना हेतु 500 करोड़ रुपये की व्यवस्था प्रस्तावित है।
  • राज्य स्मार्ट सिटी योजना: 400 करोड़ रुपये प्रस्तावित(वर्तमान वर्ष के सापेक्ष 63 प्रतिशत अधिक)।
  • कान्हा गौशाला एवं बेसहारा पशु आश्रय योजना: 400 करोड रुपये प्रस्तावित (वर्तमान वर्ष की तुलना में दो गुने से अधिक)।
  • मुख्यमंत्री शहरी विस्तारीकरण- नये शहर प्रोत्साहन के अन्तर्गत टाउनशिप विकसित किये जाने हेतु वर्ष 2024-2025 के बजट में 3000 करोड रुपये की व्यवस्था प्रस्तावित है।
  • दिल्ली-गाजियाबाद-मेरठ कॉरिडोर रीजनल रैपिड ट्रांजिट सिस्टम परियोजना में उत्तर प्रदेश के अंश के रूप में 914 करोड़ रुपये की बजट व्यवस्था प्रस्तावित है।
  • कानपुर मेट्रो रेल परियोजना: 395 करोड़ रुपये प्रस्तावित।
  • आगरा मेट्रो रेल परियोजना: 346 करोड़ रुपये प्रस्तावित।
  • अयोध्या के सर्वांगीण विकास हेतु 100 करोड़ रुपये प्रस्तावित।
  • जल जीवन मिशन: 22,000 करोड़ रुपये प्रस्तावित।
  • मुख्यमंत्री लघु सिंचाई योजना: 1020 करोड़ रुपये प्रस्तावित।
  • वर्षा जल संचयन एवं भू-जल संवर्द्धन योजना:  80 करोड़ रुपये की व्यवस्था प्रस्तावित (वर्तमान वर्ष की तुलना में लगभग 51 प्रतिशत अधिक)।
  • ग्राउंड वॉटर रीचार्जिंग एवं चेकडैम निर्माण हेतु 65 करोड़ रुपये की व्यवस्था प्रस्तावित है जो वर्तमान वर्ष की तुलना में लगभग 23 प्रतिशत अधिक है।
  • राज्य राजमार्गों के चैड़ीकरण और सुदृढ़ीकरण कार्यों के लिए 2881 करोड़ रुपये की व्यवस्था प्रस्तावित है।
  • धर्मार्थ मार्गों के विकास हेतु 1750 करोड़ रुपये की व्यवस्था प्रस्तावित है।
  • बुंदेलखंड क्षेत्र में एक नये औद्योगिक विकास प्राधिकरण (बीडा) का गठन किया जा रहा है जिसके अन्तर्गत नोएडा और ग्रेटर नोएडा के अनुरूप बुंदेलखंड क्षेत्र में औद्योगिक वाणिज्यिक और आवासीय टाउनशिप विकसित करने की योजना है।

उत्तर प्रदेश सौर ऊर्जा नीति-2022:

  • आगामी 5 वर्षों में 22000 मेगावॉट विद्युत उत्पादन का लक्ष्य रखा गया है।
  • प्रदेश में वर्ष 2017 में 288 मेगावॉट की सौर ऊर्जा परियोजनाएं थी जो अब लगभग 2600 मेगावॉट है।
  • प्रदेश में 328 मेगावॉट की सोलर रूफटॉप परियोजनाएं स्थापित की जा चुकी है।
  • अयोध्या एवं वाराणसी शहर को मॉडल सोलर सिटी के रूप में विकसित किया जा रहा है।
  • पीएम कुसुम घटक सी-1 के अन्तर्गत निजी ऑनग्रिड पम्पों के सोलराईजेशन हेतु 100 करोड़ रुपये की व्यवस्था प्रस्तावित है जो वर्तमान वर्ष की तुलना में दो गुना है।

उत्तर प्रदेश राज्य जैव ऊर्जा नीति, 2022:

  • 60 करोड़ रुपये प्रस्तावित (वर्तमान वर्ष की तुलना में 33 प्रतिशत अधिक)।
  • भारत सरकार की ग्रीन एनर्जी कारिडोर-2 परियोजना के अन्तर्गत प्रदेश के बुन्देलखण्ड क्षेत्र में सौर ऊर्जा उत्पादन हेतु 4000 मेगावाट क्षमता के सोलर पार्क का विकास किया जाना नियोजित है।

उत्तर प्रदेश नागर विमानन प्रोत्साहन नीति:

  • प्रदेश में हवाई कनेक्टिविटी को बढ़ाने के लिए प्रदेश सरकार द्वारा निरन्तर प्रयास किये जा रहे हैं। इस उद्देश्य की पूर्ति भारत सरकार की रीजनल कनेक्टिविटी स्कीम (आरसीएस- उड़ान) तथा राज्य सरकार की उत्तर प्रदेश नागर विमानन प्रोत्साहन नीति के माध्यम से की जा रही है।
  • हवाई कनेक्टिविटी के लिए चयनित एयरपोर्ट्स यथा अलीगढ़, आजमगढ़, मुरादाबाद, श्रावस्ती तथा चित्रकूट को विकसित किया जा चुका है तथा म्योरपुर (सोनभद्र) और सरसावा (सहारनपुर) एयरपोर्ट्स का विकास कार्य प्रशस्त है।
  • अयोध्या में महर्षि वाल्मीकि अन्तर्राष्ट्रीय हवाई अड्डा की स्थापना एवं विस्तार हेतु 150 करोड़ रुपये प्रस्तावित।
  • प्रदेश में एफडीआई, फॉर्च्यून ग्लोबल 500 और फॉर्च्यून इंडिया 500 कम्पनियों के निवेश को आकर्षित करने के लिये फॉरेन डाइरेक्ट इन्वेस्टमेन्ट एवं फॉर्च्यून 500 कम्पनियों के निवेश के लिए प्रोत्साहन नीति- 2023 घोषित की है।
  • किसी भी राज्य द्वारा बड़े पैमाने पर वैश्विक निवेश को आकर्षित करने का यह अपनी तरह का पहला प्रयास है। नीति के क्रियान्वयन हेतु 250 करोड़ रुपये की व्यवस्था प्रस्तावित है। 
  • गंगा एक्सप्रेसवे परियोजना: 2057 करोड़ 76 लाख रुपये प्रस्तावित (वर्तमान वर्ष की तुलना में दो गुने से अधिक)।
  • आगरा- लखनऊ एक्सप्रेसवे और पूर्वांचल एक्सप्रेसवे को जोड़ने हेतु नए लिंक एक्सप्रेसवे निर्माण के लिए 500 करोड़ रुपये की व्यवस्था प्रस्तावित है।
  • अटल इंडस्ट्रियल इन्फ्रास्ट्रक्चर मिशन: 400 करोड़ रुपये प्रस्तावित (वर्तमान वर्ष के सापेक्ष 33 प्रतिशत अधिक)।
  • महर्षि वाल्मीकि अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डे के लोकार्पण से प्रदेश में चार अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डे संचालित हैं।
  • नोएडा के जेवर में दक्षिण एशिया का सबसे बड़ा अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डा प्रारम्भ होने वाला है। इसके साथ ही उत्तर प्रदेश पांच अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डों वाला भारत का एकमात्र राज्य बन जाएगा

स्वास्थ्य:

  • आयुष्मान भारत कार्यक्रम के अन्तर्गत प्रदेश में 1600 हेल्थ एंड वेलनेस सेन्टर स्थापित किया जाना लक्षित है। 1035 राजकीय आयुर्वेदिक होम्योपैथी एवं यूनानी चिकित्सालयों को हेल्थ वेलनेस सेन्टर्स में परिवर्तित किया जा रहा है।
  • प्रदेश के विभिन्न जनपदों में वर्तमान में 2110 आयुर्वेदिक, 254 यूनानी एवं 1585 होम्योपैथी चिकित्सालयों के साथ ही 8 आयुर्वेदिक, 2 यूनानी तथा 9 होम्योपैथी कालेज एवं उनसे सम्बद्ध चिकित्सालय क्रियाशील हैं।
  • वित्तीय वर्ष 2024-2025 में आयुष विभाग के अन्तर्गत प्रमुख रूप से महायोगी गुरू गोरखनाथ आयुष विश्वविद्यालय, गोरखपुर का निर्माण कार्य पूर्ण किये जाने, जनपद अयोध्या में राजकीय आयुर्वेदिक महाविद्यालय एवं जनपद वाराणसी में राजकीय होम्योपैथिक मेडिकल कालेज की स्थापना किये जाने का लक्ष्य है।
  • राष्ट्रीय ग्रामीण स्वास्थ्य मिशन: वित्तीय वर्ष 2024-2025 में 7350 करोड़ रुपये प्रस्तावित।
  • प्रधानमंत्री आयुष्मान भारत हेल्थ इन्फ्रास्ट्रक्चर मिशन योजना: प्रदेश में ग्रामीण एवं शहरी क्षेत्र में हेल्थ वेलनेस सेन्टर केयर यूनिट, इन्टीग्रेटेड पब्लिक हेल्थ लैब की स्थापना आदि कार्यों हेतु 952 करोड़ रुपये प्रस्तावित।
  • आयुष्मान भारत मुख्यमंत्री जन आरोग्य अभियान हेतु वित्तीय वर्ष 2024-2025 में 300 करोड़ रुपये की व्यवस्था प्रस्तावित है।
  • प्रधानमंत्री मातृ वंदना योजना हेतु वित्तीय वर्ष 2024-2025 में 322 करोड़ रुपए की बजट व्यवस्था प्रस्तावित है।
  • प्रदेश में 65 मेडिकल कालेज हैं, जिनमें 35 राज्य सरकार एवं 30 निजी क्षेत्र द्वारा संचालित है।
  • राजकीय क्षेत्र में बीएससी नर्सिग कॉलेजों की संख्या 6 से बढ़ाकर 23 की गयी।
  • वाराणसी में मेडिकल कॉलेज की स्थापना के लिये 400 करोड़ रुपये प्रस्तावित।
  • असाध्य रोगों की मुफ्त चिकित्सा सुविधा हेतु 125 करोड़ रुपये की व्यवस्था प्रस्तावित है।
  • मातृ मुत्यु दर- 285 प्रति लाख (वर्ष 2014) से कम घटकर कर वर्ष 2022 में 167 प्रति लाख।
  • शिशु मृत्यु दर: 48 प्रति हजार (वर्ष 2014) से कम होकर वर्ष, 2020 में 38 प्रति हजार।
  • प्रदेश के सभी 75 जनपदों में निःशुल्क डायलिसिस की सुविधा उपलब्ध कराई जा रही है।
  • आयुष्मान भारत-प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना के अन्तर्गत 4 करोड़ 86 लाख से अधिक आयुष्मान कार्ड वितरित किए गए हैं। लाभार्थी परिवारों को प्रति वर्ष 5 लाख रुपये तक की निशुल्क चिकित्सा सुविधा सूचीबद्ध राजकीय एवं निजी चिकित्सालयों के माध्यम से प्रदान की जा रही है।

नागरिक सुरक्षा:

  • ऑपरेशन त्रिनेत्र: 8,54,634 सीसीटीवी कैमरों का अधिष्ठापन किया गया।
  • महिलाओं तथा वरिष्ठ नागरिकों की सुरक्षा के लिए सेफ सिटी परियोजना में महत्वपूर्ण स्थलों पर सीसीटीवी कैमरों की स्थापना, इंटीग्रेशन, डार्क स्पॉट्स का चिन्हीकरण एवं लाइट्स लगाना, हॉट प्वाइंट्स को चिन्हित करने, पिंक बूथों की स्थापना तथा बस- टैक्सियों में पैनिक बटन की व्यवस्था सुनिश्चित की जा रही है। 
  • 3 महिला पीएसी बटालियन जनपद लखनऊ, गोरखपुर एवं बदायूं में स्थापित हैं। बलरामपुर, जालौन, मिर्जापुर, शामली और बिजनौर जिले में 5 अन्य पीएसी बटालियन स्थापित किये जाने की कार्यवाही की जा रही है।
  • उत्तर प्रदेश स्पेशल सिक्योरिटी फोर्स की 06 वाहिनियां गठित की गयी हैं।
  • महिलाओं की सुरक्षा एवं उनके सशक्तीकरण के लिए 1,699 एण्टी रोमियों स्क्वॉयड का गठन कर अनवरत अभियान चलाया जा रहा है।
  • समस्त थानों में साइबर क्राइम सेल गठित किया गया है। वर्तमान में सभी 75 जनपदों में साइबर क्राइम थाना संचालित है।

सामाजिक एवं आर्थिक विकास:

  • प्रधानमंत्री जनधन योजना: 9 करोड़ खातों के साथ उत्तर प्रदेश देश में प्रथम स्थान पर है।
  • प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना: अब तक प्रदेश में 5 करोड़ 54 लाख नामांकन के साथ उत्तर प्रदेश प्रथम स्थान पर है।
  • प्रधानमंत्री जीवन ज्योति बीमा योजना: अब तक प्रदेश में 1.90 करोड़ के नामांकन साथ उत्तर प्रदेश द्वितीय स्थान पर है।
  • अटल पेंशन योजना: अब तक प्रदेश में 1 करोड़ 18 लाख नामांकन का उत्कृष्ट प्रदर्शन रहा है। 
  • विश्व स्तरीय इंफ्रास्ट्रक्चर विकसित करने में उत्तर प्रदेश ने उल्लेखनीय प्रगति की है। राज्य में विकसित हो रही वायु, जल, सड़क एवं रेल नेटवर्क की कनेक्टिविटी से राज्य के उद्योगों में मैन्युफैक्चरिंग इकाईयों को अपने माल के परिवहन में सुविधा उपलब्ध होगी जिससे प्रदेश से निर्यात बढ़ेगा।
  • ईज ऑफ डूइंग बिजनेस रैकिंग एवं विभिन्न राज्यों में लॉजिस्टिक्स की सुलभता (लीड्स-2023) रैंकिंग में उत्तर प्रदेश ने ‘अचीवर्स’ की श्रेणी प्राप्त की है।
  • प्रदेश के लगभग 55 लाख वरिष्ठ नागरिकों को वृद्धावस्था पेंशन 1000 रुपये प्रतिमाह की दर से प्रदान की जा रही है।
  • भारत सरकार द्वारा निर्मित ‘ई-श्रम’ पोर्टल पर उत्तर प्रदेश के लगभग 8.32 करोड़ कामगारों का पंजीकरण हुआ है जो देश में सर्वाधिक है।
  • प्रदेश की ग्राम पंचायतों में 53,800 युवक मंगल दल एवं 51,300 महिला मंगल दलों का गठन किया जा चुका है। इन दलों के माध्यम से युवाओं की सहभागिता राष्ट्रीय एवं सामाजिक महत्व के कार्यों में सुनिश्चित कराई गई है।
  • एमएसएमई सेक्टर में मुख्यमंत्री युवा स्वरोजगार योजना के अन्तर्गत अब तक 22 लाख 389 लाभार्थियों को लाभान्वित करते हुये 1,79,112 रोजगार सृजित किये गये।
  • एक जनपद एक उत्पाद वित्त पोषण योजना: 13,597 लाभार्थियों के माध्यम से 1,92,193 रोजगार सृजित हुये।
  • विश्वकर्मा श्रम सम्मान योजना तथा एक जनपद एक उत्पाद कौशल उन्नयन एवं टूलकिट योजना के अन्तर्गत लगभग 4.08 लाख रोजगार सृजित हुए।
  • उत्तर प्रदेश कौशल विकास मिशन: 12.15 लाख युवाओं को प्रशिक्षित किया गया जिनमें से 4.13 लाख युवाओं को विभिन्न प्रतिष्ठित कम्पनियों में सेवायोजित कराया गया। 
  • वर्ष 2023-2024 में माह अक्टूबर, 2023 तक लगभग 37 लाख किसान क्रेडिट कार्ड का वितरण कराया गया।
  • मुख्यमंत्री ग्रामोद्योग रोजगार: वर्ष 2023-2024 में माह अक्टूबर, 2023 तक 408 लाभार्थियों को 1854.88 लाख पूंजीगत निवेश ऋण के साथ 7418 लोगों को रोजगार उपलब्ध कराया गया।
  • मुख्यमंत्री कन्या सुमंगला योजना: 6 विभिन्न श्रेणियों में कुल 15000 रुपये की सहायता प्रदान की जा रही है।
  • महिला किसान सशक्तिकरण परियोजना: वित्तीय वर्ष 2024-2025 में 200 उत्पादक समूहों का गठन करके तकनीकी सहयोग प्रदान किया जाना लक्षित है।
  • उत्तर प्रदेश रानी लक्ष्मीबाई महिला एवं बाल सम्मान कोष: 1 लाख रुपये से 10 लाख रुपये की आर्थिक क्षतिपूर्ति प्रदान करने का प्रस्ताव है।

महात्मा गांधी नरेगा:

  • वित्तीय वर्ष 2023-2024 में 28 करोड़ 68 लाख मानव दिवस का सृजन, 
  • 75 लाख 24 हजार श्रमिकों को रोजगार प्रदान किया गया।
  • वित्तीय वर्ष 2024-2025 में 33 करोड़ मानव दिवस का सृजन किये जाने का लक्ष्य है।

निष्कर्ष:

सामाजिक, आर्थिक, अवस्थापना और औद्योगिक विकास के क्षेत्र में आज उत्तर प्रदेश एक अग्रणी प्रदेश के रूप में उभरा है। उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा प्रस्तावित बजट के सफल क्रियान्वयन के लिए राजनितिक इच्छा शक्ति और कुशल प्रशासन की आवश्यकता है।

स्रोत – जनसत्ता, दैनिक जागरण, नव भारत टाइम्स

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मुख्य परीक्षा प्रश्न

उत्तर प्रदेश बजट: 2024-25 की प्रमुख विशेषताओं का उल्लेख कीजिए।